मुजफ्फरपुर के बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर बिहार विश्वविद्यालय के ठक्कर बप्पा हॉस्टल के मुख्य गेट पर असामाजिक तत्वों ने फायरिंग की है. पुलिस घटना की जांच में जुट गई है. इलाके के सीसीटीवी कैमरों की जांच की जा रही है.
बिहार के मुजफ्फरपुर स्थित बाबासाहेब भीमराव अंबेडकर बिहार विश्वविद्यालय के हॉस्टल में फायरिंग की घटना से दहशत फैल गई. सरस्वती पूजा को लेकर चंदे के लिए छात्रों में विवाद हो गया. अराजकतत्वों ने हॉस्टल के मेन गेट पर फायरिंग कर दी. गनीमत रही कि घटना में किसी को कोई चोट नहीं आई है. जानकारी मिलते ही पुलिस घटनास्थल पर पहुंच गई. घटना की जांच की जा रही है. तीन दिन पहले सरस्वती पूजा को लेकर दो छात्र गुटों में मारपीट हुई थी. घटना के बाद विश्वविद्यालय में तनाव और दहशत का माहौल बना हुआ है.
जानकारी के मुताबिक, गुरुवार की सुबह में जब छात्र सोए हुए थे तब हॉस्टल के बाहर फायरिंग की गयी. तीन राउंड फायरिंग की बात सामने आई है. घटना के बाद हॉस्टल अंदर के छात्रों के बीच अफरा तफरी मच गई. यह घटना विश्वृविद्यालय थाना से 150 मीटर की दूरी पर घटी है. छात्रों ने तत्काल पुलिस को सूचना दी. जानकारी मिलते ही नगर डीएसपी सीमा देवी भी घटनास्थल पर पहुच गई. घटना की जांच विश्वविद्यालय थाना के साथ साथ काजी मोहम्मदपुर थाना पुलिस छानबीन कर रही है.
तीन दिन पहले भी हुई थी मारपीट
नगर डीएसपी सीमा देवी ने बताया कि विश्वविद्यालय थाना के पास हॉस्टल नंबर तीन के गेट पर तीन राउंड फायरिंग हुयी है. घटना में कोई घायल नहीं हुआ है. उन्होंने बताया कि चंदा को लेकर पिछले दिनों मारपीट की घटना हुयी थी. इस मामले में जांच चल रही है. आगे इस मामले में जांच के बाद कार्रवाई की जाएगी. जानकारी के मुताबिक, तीन दिन पहले भी सरस्वती पूजा के चंदा को लेकर यूनिवर्सिटी कैंपस में जमकर मारपीट हुई थी, जिसमें दो छात्र जख्मी हो गए थे. पीजी हॉस्टल और ठक्कर बापा छात्रावास के छात्र आपस में उलझ गए थे. उस मामले की पुलिस छानबीन कर ही रही थी कि फिर नई घटना हो गई.
चंदा को लेकर हुआ था विवाद
पीड़ित छात्र ने बताया कि 27 जनवरी को दूसरे हॉस्टल से कुछ छात्र सरस्वती पूजा का चंदा मांगने आए थे. लेकिन जितना हम चंदा दे रहे थे, उतना वे नहीं ले रहे थे. आरोप है कि छात्र ज्यादा चंदा का डिमांड कर रहे थे. जब उनकी मांग पूरी नहीं हुई तो उन लोगों ने उनके साथ मारपीट किया. गुरुवार सुबह हॉस्टल के गेट पर कुछ लोग आकर फायरिंग करने लगे. छात्रो का आरोप है कि पुलिस भी इस मामले में कोई कारवाई नहीं कर रही है. उनका कहना है कि वह दलित हैं, इसलिए उनको दबाया जा रहा है.